काटोल :- मंगळवार, बुधवार,गुरूवार, शुक्रवार को रूक रूक कर तेज तूफानी बारिश, तथा ओलावृष्टि के चलते काटोल, कोंढाली, नरखेड , जलालखेडा क्षेत्र में हुई च इस बेमौसम बारिश से संतरा, मोसंबी, आम तथा सब्जीभाजी फसलों पर बुरा असर पड़ा. अंबीया बहार के संतरा एंव मोसंबी तेज तूफानी आंधी तथा बारिश से आधे से अधिक फलों की फसल निचे गीर गये. उत्पादन पहले से ही कम है और यह नया संकट खड़ा हो गया है., संतरा, आम, नींबू, और सब्जियों को भारी नुकसान होने की खबर है। काटोल तहसील तालुका के काटोल ,कोंढाली के समिपस्थ किसानों में मंगलवार, बुधवार , गुरूवार, तथा शुक्रवार के दौरान बारिश तथा ओलावृष्टि के कारण अंबीया बहार संतरे बड़ी संख्या में गिरने लगे हैं। बेमौसम बारिश के कारण अंबीया बहार संतरे मोसंबी के फल बड़ी संख्या में गिरे हुए देखे गए हैं. वहीं गेंहू तथा चना की कटी फसलों को भी काफी नुकसान पहुंचा रहा है. फिलहाल लोकसभा चूनाव की गहमा गहमी के चलते काटोल राजस्व मंडलों अधिकारी तथा कर्मचारी चुनावी प्रक्रिया में लगे है.वहीं बेमौसम बारिश हुई, जबकि कुछ इलाकों में तूफानी हवाओं के साथ बेमौसम बारिश हुई। अनुमान है कि इस बारिश से संतरा, मोसंबी आम, काठी अवस्था के चने और गेंहू को नुकसान होगा. अब राजस्व राजस्व प्रशासन से नुकसान की जानकारी लेनी की मांग की गयी है.
साथ ही आपदा ग्रस्त संतरा मोसंबी आम उत्पादक किसानों को मुआवजे की मांग की काटोल तहसील के किसानों द्वारा की जा रही है जिसमें चन्द्रशेखर बेलखेडे, नितीन राठी,आशिष मक्कड, मनिष हरजाल, जितेंद्र कोतेवार, मोहन चरडे, विशाल वानखेडे, कैलास देशमुख,इश्वर पुंड, मनोहर चौधरी, गोपाल गुप्ता, दिनेश नासरे, मिलिंद काळमेघ, कुणाल सावरकर, राकेश वानखेडे, हरिभाऊ काळमेघ, आदी कर रहे हैं.
बे मौसम तूफानी बारिश से संत्रा मोसंबी उत्पादक किसान संकट में
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