– जेल से रिहा होते ही जंतर मंतर पर हुई विशाल सभा
नई दिल्ली :- दिल्ली के पूर्व मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल जेल से रिहा होने के बाद जंतर मंतर पर आयोजित विशाल सभा में आम आदमी पार्टी के कार्यकर्ताओं को संबोधित किया।
इस रैली में उन्होंने कहा कि उन्हें जंतर मंतर पर पुराने दिन याद आ रहे हैं। 2 अप्रैल 2011 का दिन था जंतर मंतर पर भ्रष्टाचार विरोधी सबसे बड़ा आंदोलन शुरू हुआ था जबकि सरकार अहंकारी थी। इस अन्ना आंदोलन में सरकार कहती थी की पहले चुनकर दिखाएं। केजरीवाल ने कहा हम छोटे लोग थे, हमारे पास पैसा नहीं था, हमारे पास गुंडे नहीं थे। हमने चुनाव लड़ा और जीत कर आए । आम आदमी पार्टी की सरकार बनी 2013 में।
जनवरी में दिल्ली में चुनाव टाला जा सकता है । हमारे पास पैसा नहीं था 10 साल से दिल्ली में हम सरकार चला रहे थे, सरकार के पैसे बचा रहे थे, ऐसी सुविधाएं दी जिसकी किसी ने कल्पना नहीं की थी। बिजली, पानी ,स्वास्थ्य ,महिलाओं के लिए बस सेवा फ्री की।
मोदी ने सोचा उनकी लोकप्रियता बढ़ रही है इसलिए उनकी ईमानदारी पर चोट कर षड्यंत्र के तहत मुझे और सिसोदिया को जेल में डाल दिया। मैंने अपने मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया। केजरीवाल ने कहा मुझे सत्ता की भूख नहीं है, मुझे पैसे नहीं कमाने, मैं इनकम टैक्स कमिश्नर था तो चाहे उतने पैसे कमा सकता था। मैं नेता नहीं हूं ,मेरी चमड़ी मोटी नहीं है। मुझे बीजेपी वाले गाली देते हैं तो बुरा लगता है इसलिए मैं दुखी हूं और इसीलिए मैंने अपना इस्तीफा दे दिया। मेरा कोई बैंक बैलेंस नहीं है, मेरे पास कोई प्लॉट नहीं है मेरे पास कोई बंगला नहीं है। मैंने केवल आपका प्यार कमाया है अगर कल मुझे कहीं रहने की नौबत आई तो मैं किसी के घर में रह लूंगा।
प्रधानमंत्री ने लगातार ईडी के माध्यम से मुझे फंसाने की कोशिश की। सुप्रीम कोर्ट ने भी देखा की केस में कोई दम नहीं है। वकीलों ने कहा था कि केस 10 से 15 साल तक चलेगा इसलिए मैं जनता की अदालत में आया हूं।
केजरीवाल ने कहा हमने दिल्ली में बिजली फ्री करने के लिए 3000 करोड़ बचाए। हमें क्या जरूरत थी अगर मैं बेइमान होता। बीजेपी को आड़े हाथों लेते हुए केजरीवाल ने कहा कि इनकी 22 राज्यों में सरकार है वहां बिजली फ्री नहीं है तो चोर कौन है , केजरीवाल को जेल भेजने वाले चोर है।
केजरीवाल ने राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के सरसंघचालक डॉक्टर मोहन भागवत से पांच सवाल किए। उन्होंने कहा आरएसएस वाले कहते हैं कि हम देशभक्त है राष्ट्रवादी है, मैं भागवत से पुछता हूं। मोदी देश भर में ईडी की धमकी देकर विरोधियों को डरा धमकाकर पार्टी या तोड़ रहे हैं, यह लोकतंत्र के लिए घातक है या नहीं? मोहन भागवत ने इसकी कल्पना की थी। मोदी शाह जिन पर भ्रष्टाचार के आरोप लगाते थे ऐसे ही लोगों को उन्होंने भाजपा में शामिल किया। लोकसभा चुनाव के दौरान बीजेपी अध्यक्ष जेपी नड्डा ने कहां था कि अब बीजेपी को रस की जरूरत नहीं है। केजरीवाल ने कहा आरएसएस बीजेपी को मां के समान है। आज वही बेटा मां को आज दिखा रहा है, जब घंटा में यह कहा तब भागवत आपको दुख नहीं हुआ? , अपने कानून बनाया 75 वर्ष के रिटायरमेंट का। आडवाणी, खंडूरी जैसे वरिष्ठ नेताओं को घर बिठा दिया। अमित शाह कहते हैं यह नियम मोदी पर लागू नहीं होता, तो क्या आप यह पूछना नहीं चाहेंगे?, ऐसे सवाल केजरीवाल ने मोहन भागवत पर दागे हैं।
हमारे देश में शिक्षा व्यवस्था का बुरा हाल है 75 साल से हर सरकार ने शिक्षा का बेड़ा गर्ग किया है। 75 साल बाद एक ऐसा देशभक्त आया जिसका नाम मनीष सिसोदिया है। जिसने गरीबों के बच्चों की शिक्षा देने कीव्यवस्था की, ऐसे व्यक्ति को 2 साल के लिए जेल में रखा गया। बाहर होते तो कितने गरीबों के बच्चोंको शिक्षा मिल सकती थी। केजरीवाल ने कहा कि मेरे इस मुद्दे पर चिंतन करना जरूरी है। दिल्ली का चुनाव केजरीवाल की अग्नि परीक्षा है।
जंतर मंतर पर अभी इस सभा में बड़ी संख्या में लोग मौजूद थे।