के बी सी उत्तर महाराष्ट्र विद्यापीठ जलगांव और कैट के बीच करारनामा
नई दिल्ली :-देश की शीर्ष व्यापारी संस्था कंफीद्रेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स नई दिल्ली तथा कवित्री बहिणाबाई चौधरी उत्तर महाराष्ट्र विद्यापीठ जलगांव के बीच में नई शिक्षा नीति (एन ई पी 2020) को कार्यान्वित करते हुए एक करारनामा किया गया। इस कारनामे के अंतर्गत स्थानक पढ़ाई कर रहे युवाओं को व्यापारियों की दुकान में कौशल विकास के लिए कॉलेज समय के बाद व्यापारियों की दुकान में आर्ट्स कॉमर्स कॉलेज के बच्चों को प्रशिक्षण दिया जाएगा। देशभर में इस प्रकार का यह पहला करारनामा हुआ है। विद्यापीठ की तरफ से रजिस्टरार डॉ विनोद पाटिल तथा डॉ राजेश जावड़ेकर ने हस्ताक्षर किए। कैट की तरफ से कराना में पर राष्ट्रीय अध्यक्ष बी सी भरतिया ने दस्तखत किए।
इस मौके पर अपने अध्यक्षीय भाषण में कुलगुरू प्रोफसर विजय माहेश्वरी ने कहा कि यह करारनामा शिक्षा देने वाली संस्था और व्यापारियों को करीब लाएगा। विद्यापीठ ज्ञान संबंधित बातें व्यापारियों और विद्यार्थियों को प्रदान करेगा तथा व्यापारियों के माध्यम से विद्यार्थियों को प्रशिक्षण द्वारा व्यवहारिकता पूर्ण कौशल विकास का मौका मिलेगा। कुलगुरू महेश्वरी ने आगे कहा कि नए शिक्षण धोरण का मुख्य उद्देश्य यही है कि बच्चों में व्यवसायिक और कौशलगुण को बढ़ाया जाए जिससे विद्यार्थियों को रोजगार मिले। के बी सी उत्तर महाराष्ट्र विद्यापीठ, जलगांव का मुख्य उद्देश्य विद्यार्थियों को सर्वागीण विकास की ओर ले जाना है।
मुख्य अतिथि राष्ट्रीय व्यापारी परिसंघ के राष्ट्रीय अध्यक्ष बी सी भरतीया ने देश के पहले इस तरह के करारनामे हेतु प्रसन्नता जाहिर की। उन्होंने कहा कि नई शिक्षा नीति के अंतर्गत बच्चों को कौशल परीक्षण के लिए कैट वचनबद्ध है। उन्होंने विद्यार्थियों के पालकों की सोच पर चिंता व्यक्त की। बच्चों को व्यवसाई बनाने की जगह उन्हें उनके पालक नौकरी के लिए प्रोत्साहित करते हैं। यह सोच बदलने की आवश्यकता है। हमें विद्यार्थियों को कुशल व्यवसाई बनाने के लिए मिलकर कार्य करना पड़ेगा। प्रधानमंत्री द्वारा 5 ट्रिलियन डॉलर इकोनामी के लिए सभी को मिलकर कार्य करना होगा। महिला के रूप में हमारा ५० प्रतिशत कुशल और सक्षम मानव संसाधन घर में बैठा है। इन्हें व्यापार की मध्य धारा में लाना आवश्यक है। भरतिया ने आगे कहा कि विद्यापीठ में बहुत सा रिसर्च का कार्य होता है। उन्होंने सुझाव दिया कि रिसर्च कार्यों का व्यवसाई करण किस तरह हो सकता है इस पर भी ध्यान देना जरूरी है। केमिकल इंजीनियरिंग पढ़ान वाले प्रोफ़ेसरस को केमिकल द्वारा व्यवसाय कैसे तैयार होंगे यह भी बताना चाहिए। भरतिया ने विद्यापीठ को आस्वत किया कि यहां के बच्चों को कैट अपनी विभिन्न संगठनों के माध्यम से कौशल विकास हेतु उत्तम प्रशिक्षण प्रदान करेगा।
कार्यक्रम के विशेष अतिथि तथा जलगांव के अग्रिम व्यवसाई पुखराज पगारिया ने कहा कि विद्यार्थियों को रोजगार मिले इसके लिए विद्यापीठ को मार्गदर्शन करना चाहिए। व्यापारियों की सेवा के बारे में प्रशंसा करते हुए उन्होंने कहा कि आज व्यापारी लाखों रोजगार निर्मित करता है। समाज को इसका लाभ मिलना चाहिए।
स्वागत भाषण डॉ राजेश जावड़ेकर ने दिया तथा आभार प्रदर्शन डॉ रमेश सरदार ने किया। कार्यक्रम का संचालन डॉ राजेश जावड़ेकर ने किया।
इस मौके पर महाराष्ट्र के अध्यक्ष सचिन निबंधगुणे, वरिष्ठ उपाध्यक्ष अजय शाह, पुरुषोत्तम तिवारी तथा जलगांव के अध्यक्ष संजय शाह ने भी अपने अपने विचार रखें। इस मौके पर बहुत बड़ी संख्या में उत्तर महाराष्ट्र के व्यापारी तथा विद्यापीठ के विद्यार्थी उपस्थित थे।