सफर करने वाले यात्रियों का विश्वास
नागपुर – आवागमन के लिए मेट्रो ट्रेन सबसे अधिक सुविधाजनक और आरामदेह है । रविवार को मेट्रो ट्रेन की दोनों लाइनों पर यात्रा करने वाले यात्रियों की संख्या ६६,४२८ होने तथा नया रिकॉर्ड बनाने की खबर पढ़कर बेहद प्रसन्नता हुई है और हमें उम्मीद है, की स्कूल,कालेज और ट्यूशन क्लास के शुरू होते ही प्रतिदिन मेट्रो से यात्रा करने वाले यात्रियों की संख्या का आंकड़ा १ लाख से अधिक होने में अधिक समय नहीं लगेगा । यह प्रतिक्रिया व्यक्त की है मेट्रो यात्रियों ने, उनका मानना है कि कामठी रोड और प्रजापतिनगर मार्ग पर मेट्रो सेवा शुरू होने पर यात्रियों की यह संख्या १.५० लाख से अधिक हो जाएगी ।
मुश्किल से मिलती है सीट :
छत्रपति निवासी इलेक्ट्रीशयन चंदू नरवाडे प्रतिदिन छत्रपतिनगर से जीरो माइल तक यात्रा करते है । उनका कहना है, की पहले एक-एक घंटे के अंतराल में मेट्रो ट्रेन मिलती थी, इस दौरान बैठने के लिए आसानी से सीट मिल जाती थी, अब १२-१२ मिनिट के अंतराल में ट्रेन होने के बावजूद बैठने के लिए सीट बड़ी मुश्किल से मिलती है। नरवाडे के अनुसार खापरी मार्ग पर पुरुषों की बजाय महिलाओं की संख्या अधिक रहती है । परिवार की महिलाएं भी मेट्रो के अलावा किसी अन्य परिवहन साधन से जाना पसंद नहीं करती। मेट्रो ट्रेन उनकी पसंदीदा सवारी है ।
युवाओं की पहली पसंद:
रामनगर निवासी सीए छात्रा अदिति कापगते का कहना है, की युवाओं की पहली पसंद मेट्रो ट्रेन बनती जा रही है । अदिती रामनगर से शंकरनगर पहुँचती है और बर्डी इंटरचेंज से कांग्रेसनगर तक मेट्रो में सफर कर क्लास जाती है । घर से क्लास जाने और आने में किसी प्रकार की परेशानी नहीं होती और आसानी से सफर हो जाता है उन्होंने बताया की दिनों-दिन युवा मेट्रो यात्रियों की संख्या बढ़ती जा रही है । सहयोगियों ने भी टू -व्हीलर और बाइक छोड़कर मेट्रो की सवारी करना शुरू कर दिया है ।
स्टाफ का मिलता है सहयोग:
चिंचभवन निवासी नेत्रहीन ओमशंकर टिचकुले न्यू एयरपोर्ट स्टेशन से बर्डी और वहां से ट्रेन बदलकर शंकरनगर मेट्रो स्टेशन पहुंचते है । टिचकुले का कहना है , कि मेट्रो रेल सेवा मेरे लिए वरदान है । सहयोगी के साथ पहले आवागमन में भारी परेशानी होती थी , लेकिन अब मेट्रो आने से कोई परेशानी नहीं है । मेट्रो स्टेशन पर जाते ही स्टाफ का सहयोग ट्रेन में सवार होने तक मिलता है शंकरनगर स्टेशन पर ट्रेन पहुंचने के पहले ही स्टाफ सहयोग के लिए तैनात रहता है । मेट्रो कर्मचारी लिफ्ट से लेकर बाहर निकलने तक साथ रहकर सहायता करते है । स्टाफ का स्नेह और अपनत्व की भावना से मन स्वयं द्रवित हो जाता हूं । जैसा नाम है ‘माझी मेट्रो’ वैसा ही काम है, इस बात का मुझे गर्व है , कि मेरे शहर की मेट्रो का परिवार जैसा पूरे देश में कही नहीं होगा जो पग-पग पर सहायता के लिए तत्पर रहते है ।
विद्यार्थियों के लिए सबसे अच्छी सेवा:
कन्हान निवासी विद्यार्थी कुशाल शाह और अथर्व सिंह रोजाना ट्यूशन पढ़ने आते है कस्तूरचंद पार्क मेट्रो स्टेशन से सवार होकर बर्डी और वहां से शंकरनगर स्थित ट्यूशन क्लास पहुंचते है । कुशाल का कहना है, कि मेट्रो परिवहन की सबसे अच्छी सेवा है । रोजाना युवाओं की संख्या बढ़ती जा रही है ऑटोमोटिव तक मेट्रो सेवा बहाल होने पर यह संख्या कई गुना बढ़ जाएगी । अथर्व ने कहा कि कामठी , कांद्री ,मनसर , पारसिवनी , डुमरी से बड़ी संख्या में विद्यार्थी नागपुर आते है । ऑटोमोटिव तक सेवा प्रारंभ होने पर ६६,४२८ यात्रियों की संख्या का नया रिकॉर्ड १.५० लाख का बनने में समय नहीं लगेगा, क्योंकि समय, श्रम और धन की बचत होने से युवा और उनके परिवारजनों की पहली पसंद मेट्रो बनती जा रही है ।
चिंता से मिली मुक्ति:
एयरपोर्ट निवासी गृहिणी नम्रता निखारे ने मेट्रो सफर के दौरान कहा की १५ वर्षीय बेटा प्रथमेश जब तक ट्यूशन और स्कूल से घर नहीं पहुँचता था , तब तक एक अनजान भय बेटे की चिंता में बना रहता था , मेट्रो ने उनकी चिंता समाप्त कर दी है । बेटा प्रथमेश अपने मित्र ऋगवेद मदनकर और ऋषिकेश कोठे के साथ एयरपोर्ट स्टेशन से झांसी रानी पहुंचते है । और वापस घर पहुंचते हैं। जो बच्चे मेट्रो से आवागमन करते है मेरी जैसी उनकी माँ और परिवारजन चिंतामुक्त रहते होंगे क्योंकि आज के माहौल में मेट्रो ही सबसे सुलभ और सुरक्षित परिवहन साधन है ।