– हवन, प्रसाद के साथ भागवत कथा का समापन
– सद्कार्य जल्दी करने चाहिए – इंद्रदेव सरस्वती महाराज
नागपुर :- रेशिमबाग मैदान में श्री राधा किशोरी सेवा समिति की ओर से 7 दिवसीय श्रीमद्भागवत कथा ज्ञान यज्ञ का आयोजन किया गया। इसमें मथुरा वृंदावन के कथाकार डॉ. इंद्रदेव सरस्वती जी महाराज ने रोज भागवत कथा के प्रसंगों का सरस वर्णन किया। कथा के मुख्य यजमान दीपक मड़ावी परिवार थे।
आज भागवत कथा के अंतिम दिवस महाराज जी ने कहा कि जीवन में जब भी सद्कार्य का विचार आए उससे तुरंत क्रियान्वित करें। क्योंकि अच्छे कार्यों से आपको फल भी अच्छा प्राप्त होता है। सद्कार्यों के करने से परमात्मा भी उस भक्त के समीप पहुँचने में देर नहीं करते।’हमें तो वृंदावन जाना है…’ से भागवत कथा पंडाल गूंज उठा।
इंद्रदेव सरस्वती महाराज ने आज कथा समापन पर सुदामा चरित्र का भावपूर्ण वर्णन किया। उन्होंने बताया कि किस तरह श्री कृष्ण ने अपने सखा सुदामा का अतिथि सत्कार किया और उनका उद्धार किया। हम सभी को मित्रता का भाव श्री कृष्ण व सुदामा से सीखना अति आवश्यक है। निःस्वार्थ मित्रता ही सर्वोपरि मानी गई है।
आज हवन पूजा की गई व प्रसाद का वितरण किया गया। मंच संचालन ओमप्रकाश शर्मा(जलगांव)ने किया। सफ़लतार्थ अमरनाथ पचीसिया, संजय बत्रा, तानाजीराव वाघ, हेमंत वाघमारे, हेमन्त खानोरकर, एड.कुश चावड़ा, अनिता टन्डन सहित अन्य ने प्रयास किया।